चार वर्षीय इंटीग्रेटेड टीचर एजुकेशन प्रोग्राम (ITEP) पाठ्यक्रम में नामांकित विद्यार्थियों को भी कल्याण छात्रवृत्ति का लाभ मिलेगा। इसे लेकर कवायद शुरू कर दी गई है। अभी तक राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (NCTE) द्वारा शुरू किए गए इस पाठ्यक्रम में नामांकित विद्यार्थियों को इसका लाभ नहीं मिल रहा था। एनसीटीई ने इस पाठ्यक्रम में नामांकित एससी, एसटी तथा ओबीसी विद्यार्थियों को भी इस योजना का लाभ देने तथा नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल में इस पाठ्यक्रम को सम्मिलित करने को लेकर संबंधित मंत्रालयों से चर्चा की है। जल्द ही इसे नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल में शामिल कर लिया जाएगा। एनसीटीई का कहना है कि चार वर्षीय इंटीग्रेटेड टीचर एजुकेशन प्रोग्राम (ITEP) पाठ्यक्रम में भी छात्रों को स्कॉलरशिप मिलने से उनका मनोबल बढ़ेगा। इसके साथ ही इस पाठ्यक्रम को बढ़ावा देने में भी मदद मिलेगी। स्कॉलरशिप का फायदा लेने के लिए छात्रों को नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल में रजिस्टर भी करना होगा। एनसीटीई ने इसकी जानकारी राज्य सरकार को दी है। पोस्ट मैट्रिक कल्याण छात्रवृत्ति योजना के तहत इसका लाभ बीएड में नामांकित विद्यार्थियों को मिल रहा था। एनसीटीई ने हाल ही में चार वर्षीय इंटीग्रेटेड पाठ्यक्रम बीए-बीएड, बीएससी-बीएड, बीकॉम-बीएड शुरू किया है। राज्य के भी कई संस्थानों में या तो यह पाठ्यक्रम संचालित हो रहा है या फिर इस पाठ्यक्रम की मान्यता के लिए एनसीटीई को आवेदन किया है। अभी तक इस पाठ्यक्रम को नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल से नहीं जोड़े जाने पर संस्थानों को आशंका थी कि इससे बड़ी संख्या में विद्यार्थी इस पाठ्यक्रम में नामांकन से परहेज कर सकते हैं, जबकि एनसीटीई का जोर इस पाठ्यक्रम को बढ़ावा देने का है। इधर, एनसीटीई बीएड तथा इंटीग्रेटेड बीएड पाठ्यक्रम संचालित करने वाले संस्थानों को एनआईआरएफ रैंकिंग के दायरे में लाने को लेकर भी संबंधित बोर्ड से अनुरोध किया है। इससे पता चलेगा कि राज्य में संचालित शिक्षक प्रशिक्षण संस्थान कहां खड़ा है। रैंकिंग से उनमें प्रतियोगिता की भावना भी विकसित होगी। साथ ही शिक्षा की गुणवत्ता में भी सुधार होगा। बताते चलें कि संस्थानों की एनआईआरएफ रैंकिंग ओवरऑल के अलावा विश्वविद्यालय, महाविद्यालय, मेडिकल, इंजीनियरिंग, प्रबंधन, कृषि, फार्मेसी, आर्किटेक्चर आदि क्षेत्रों में की जाती है। अभी तक इसमें शिक्षक प्रशिक्षण संस्थानों को सम्मिलित नहीं किया गया है।