जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर ने बीपीएससी 70वीं पीटी परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर पटना के गांधी मैदान में अपना धरना पर्दर्शन शुरू किया था. हालांकि, पटना जिला प्रशासन ने उन्हें नोटिस जारी कर गांधी मैदान खाली करने और निर्धारित धरना स्थल गर्दनीबाग में स्थानांतरित होने का आदेश दिया है. बता दें कि प्रशासन ने अपने नोटिस में स्पष्ट किया कि पटना उच्च न्यायालय के आदेशानुसार, धरना-प्रदर्शन के लिए गर्दनीबाग में स्थल चिन्हित किया गया है, जहां पिछले सात वर्षों से सभी राजनीतिक दल अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन करते आए हैं. गांधी मैदान में बिना अनुमति के धरना देना गैरकानूनी माना गया है. प्रशासन ने चेतावनी दी है कि यदि प्रशांत किशोर और उनके समर्थक गांधी मैदान नहीं खाली करते हैं, तो उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी. प्रशांत किशोर ने प्रशासन की इस कार्रवाई पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “हम प्रदर्शन के लिए नहीं, बल्कि छात्रों से मिलने आए थे. गांधी मैदान एक सार्वजनिक स्थल है, जहां जाने के लिए किसी अनुमति की आवश्यकता नहीं होती. सरकार इस मुद्दे को अपनी प्रतिष्ठा का प्रश्न बना रही है, जिससे वह स्वयं का नुकसान कर रही है.” उन्होंने आगे कहा, “बच्चों के पास कोई सरकारी बंगले नहीं हैं, इसलिए उन्होंने गांधी मैदान को चुना, क्योंकि यह एक सार्वजनिक जगह है. हम यहां कोई हंगामा नहीं कर रहे हैं.”आपको बता दें कि प्रशांत किशोर ने प्रशासन के निर्देशों का पालन करते हुए अपने धरना स्थल को गांधी मैदान से गर्दनीबाग स्थानांतरित कर लिया है. उन्होंने कहा कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, तब तक वे अपने समर्थकों के साथ धरने पर बने रहेंगे. इस बीच, बीपीएससी अभ्यर्थियों का आंदोलन भी जारी है, जो परीक्षा रद्द करने की मांग पर अड़े हुए हैं. प्रशासन ने सभी प्रदर्शनकारियों से अपील की है कि वे निर्धारित स्थल पर ही अपने कार्यक्रम आयोजित करें, ताकि कानून व्यवस्था बनी रहे और किसी प्रकार की अप्रिय स्थिति उत्पन्न न हो. साथ ही, प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि किसी भी अनधिकृत स्थल पर धरना-प्रदर्शन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.