सासाराम की रहने वाली छात्रा स्नेहा सिंह की संदिग्ध मौत के मामले में एक नया खुलासा हुआ है। वाराणसी के पोस्टमार्टम हाउस में स्नेहा के शव से जेवर चोरी किए गए और उनकी जगह नकली जेवर रख दिए गए। यह मामला सामने आने के बाद पुलिस ने पोस्टमार्टम हाउस के तीन कर्मचारियों के खिलाफ केस दर्ज किया है। इस मामले की जांच जारी है। स्नेहा सिंह, जो कि NEET की तैयारी कर रही थी, पिछले छह महीने से वाराणसी में रह रही थी। 1 फरवरी को जवाहर नगर एक्सटेंशन स्थित एक हॉस्टल में स्नेहा का शव फंदे से लटका मिला। इसके बाद स्नेहा के पिता ने हॉस्टल संचालक पर हत्या का आरोप लगाया, लेकिन पुलिस ने शुरुआत में इस मामले को आत्महत्या मानते हुए हत्या के आरोपों को नकारा। जब छात्र-छात्राओं और समाजसेवी संगठनों ने विरोध किया, तब पुलिस ने हत्या का केस दर्ज किया। 2 फरवरी को स्नेहा के परिवार ने अंतिम संस्कार के दौरान देखा कि स्नेहा के गहने गायब थे, जबकि वह हमेशा चेन, टॉप्स और नथुनी पहनती थी। शक होने पर स्नेहा के पिता ने पुलिस से इसकी शिकायत की। इसके बाद जब पुलिस ने पोस्टमार्टम हाउस से जो गहने लौटाए, तो परिवार ने इन गहनों को पहचानने से इनकार कर दिया, क्योंकि ये असली गहनों के मुकाबले नकली थे। पुलिस की कड़ी पूछताछ में यह खुलासा हुआ कि पोस्टमार्टम हाउस के कर्मचारियों ने स्नेहा के असली गहनों को निकालकर उनकी जगह नकली गहनों की पोटली बना दी थी। जब कर्मचारियों से कड़ाई से पूछा गया, तो उन्होंने दावा किया कि गलती से गहनों की दूसरी पोटली चली गई थी और असली गहने अब स्नेहा के पिता को सौंप दिए गए हैं। भेलपुरी थाना प्रभारी विजय नारायण मिश्रा ने पुष्टि की कि सब इंस्पेक्टर की तहरीर पर पोस्टमार्टम हाउस के तीन कर्मचारियों – शम्स परवेज, सुरेश लाल और राजेश कुमार के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। पुलिस जल्द ही इन कर्मचारियों को गिरफ्तार करने का दावा कर रही है। यह मामला बेहद संवेदनशील और गंभीर है, जिसके कारण जांच की प्रक्रिया तेज कर दी गई है।