राजधानी लखनऊ के बंगालाबाजार में सैलून चलाने वाले रामकुमार शर्मा के घर आज खुशियों का माहौल है। उनकी बेटी चांदनी का चयन भारतीय अंडर-19 ए टीम के लिए हुआ है। साधारण पृष्ठभूमि से आने वाली चांदनी ने अपने संघर्ष और मेहनत के बल पर यह मुकाम हासिल किया है। इस खुशी का इजहार करते हुए रामकुमार की आंखों में कुछ घटनाएं बिजली सी कौंध जाती हैं। वह मुस्कुराते हुए कहते हैं, एक दिन वो था जब मैंने बेटी को क्रिकेट खेलने से मना किया था। चांदनी को शुरू से क्रिकेट पसंद था। हाईस्कूल का आखिरी पेपर देने के बाद तो वह क्रिकेट में दाखिला दिलाने के लिए लड़ गई थी। खाना खाने से इन्कार कर दिया था। हमारे आश्वासन के बाद उसने खाना खाया। अगले दिन नॉर्दर्न रेलवे स्टेडियम में ट्रेनिंग शुरू कर दी। अमर उजाला से खास बातचीत में चांदनी ने कहा कि मुझे आज भी याद है जब पापा मेरे क्रिकेट खेलने के खिलाफ थे, तब बड़े भाई ने पापा से बात करके मुझे खेलने की परमिशन दिलाई। शुरुआत गली क्रिकेट में लड़कों के साथ खेलकर की। बाद में मेरा चयन नॉर्दर्न रेलवे स्टेडियम में हो गया।
यहां प्रियंका शैली मैम के निर्देशन में खेलना शुरू किया। यजुवेंद्र चहल को अपना पसंदीदा खिलाड़ी बातते हुए चांदनी कहती हैं कि चहल की बात ही निराली है। उनको गेंदबाजी करते देखकर काफी कुछ सीखने को मिला। महिला क्रिकेट में पूनम यादव दीदी मेरी पसंदीदा खिलाड़ी हैं। बेहद गरीब परिवार से ताल्लुक रखने वाली चांदनी बेहतर प्रतिभाशाली खिलाड़ी है। स्थानीय क्रिकेट में बेहतर प्रदर्शन के आधार पर उनका चयन प्रदेश की अंडर-19 क्रिकेट टीम में हो गया। पुणे में 3 से 10 दिसंबर तक होने वाली त्रिकोणीय प्रतियोगिता में इंडिया ए और इंडिया बी के अलावा दक्षिण अफ्रीका की टीम भाग लेगी। अगर चांदनी इस प्रतियोगिता में अच्छा प्रदर्शन करने में सफल रहती है, तो उसका चयन अगले साल श्रीलंका में जनवरी माह में होने वाले अंडर-19 विश्वकप के लिए हो सकता है।