Home राष्ट्रीय पति की अनुमति के बिना गर्भपात का अधिकार? हाईकोर्ट का ऐतिहासिक फैसला

पति की अनुमति के बिना गर्भपात का अधिकार? हाईकोर्ट का ऐतिहासिक फैसला

22
0
Right to abortion without husband's permission?

महिलाओं के अधिकारों को मजबूती देने वाले एक अहम फैसले में हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया है कि यदि कोई विवाहित महिला अपने पति से अलग रह रही है, तो उसे गर्भपात कराने के लिए पति की अनुमति की आवश्यकता नहीं होगी. बता दें कि अदालत ने यह फैसला एक याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया, जिसमें महिला ने अनचाहे गर्भ को समाप्त करने की अनुमति मांगी थी. अदालत ने कहा कि गर्भपात का निर्णय महिला का व्यक्तिगत अधिकार है और इसे पति की सहमति से जोड़ा नहीं जा सकता. अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेग्नेंसी (MTP) एक्ट के तहत किसी भी महिला को सुरक्षित गर्भपात का अधिकार प्राप्त है, चाहे वह विवाहित हो या अविवाहित.

याचिकाकर्ता महिला ने कोर्ट को बताया कि वह अपने पति से अलग रह रही है और इस बच्चे को जन्म नहीं देना चाहती. हालांकि, अस्पताल ने पति की सहमति के बिना गर्भपात करने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद महिला ने अदालत का सहारा लिया. कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि गर्भधारण और गर्भपात का निर्णय पूरी तरह से महिला का अधिकार है और इसमें किसी और की सहमति की जरूरत नहीं होनी चाहिए. अदालत ने डॉक्टरों को निर्देश दिया कि वे महिला की स्वास्थ्य स्थिति को ध्यान में रखते हुए आवश्यक उपचार सुनिश्चित करें.

यह फैसला उन महिलाओं के लिए राहत की खबर है, जो अपने पति से अलग रह रही हैं या किसी अन्य कारण से गर्भपात कराना चाहती हैं. लोगों का मानना है कि यह निर्णय महिलाओं के प्रजनन अधिकारों को और अधिक सशक्त बनाएगा और मेडिकल सेवाओं तक उनकी पहुंच को आसान करेगा.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here
Captcha verification failed!
CAPTCHA user score failed. Please contact us!