पिछले वर्ष अगस्त में शेख हसीना सरकार को गिराने वाले शक्तिशाली छात्र संगठन से जुड़े नेशनल सिटिजन पार्टी (एनसीपी) के सैकड़ों विद्यार्थी कार्यकर्ता और नेता ढाका के शाहबाग चौराहे पर धरना दे रहे हैं और अवामी लीग पर प्रतिबंध लगाने की मांग कर रहे हैं। नेशनल सिटिजन पार्टी (एनसीपी) के संयोजक हसनत अब्दुल्ला ने पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग पार्टी पर औपचारिक रूप से प्रतिबंध नहीं लगाए जाने तक सड़क जाम करने की घोषणा की है। इस आह्वान के बाद हजारों की संख्या में एनसीपी और स्टूडेंट अगेंस्ट डिस्क्रिमिनेशन (एसएडी) समर्थक विरोध प्रदर्शन के लिए इलाके में उमड़ पड़े। विद्यार्थियों के विरोध प्रदर्शन शनिवार को दूसरा दिन है। ‘द डेली स्टार’ की रिपोर्ट के अनुसार हसनत ने सभा को संबोधित करते हुए कहा, “हमारी आवाज अंतरिम सरकार तक नहीं पहुंचती। शहीदों की चीखें उन तक नहीं पहुंचतीं, घायलों की चीखें उन तक नहीं पहुंचतीं।हम यहां से चले जाएंगे और शाहबाग की नाकेबंदी कर देंगे। हम नाकेबंदी तब तक जारी रखेंगे जब तक अवामी लीग पर प्रतिबंध लगाने की अधिसूचना जारी नहीं हो जाती।”
आवामी लीग पर प्रतिबंध लगाने की मांग को लेकर कल अपराह्न में एक रैली शुरू हुई और प्रदर्शनकारी मुख्य सलाहकार के आधिकारिक आवास के पास एकत्र हुए। शाम होते-होते श्री हसनत अब्दुल्ला के नेतृत्व में रैली शाहबाग की ओर बढ़ गई। प्रदर्शनकारियों को आगे बढ़ने से रोकने के लिए पुलिस ने सड़क पर बैरिकेड लगा दिए। हजारों प्रदर्शनकारियों ने आवामी लीग पर प्रतिबंध लगाने की मांग करते हुए नारे लगाने शुरू कर दिए। इस नाकेबंदी का समर्थन कई इस्लामी पार्टियों के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने किया, जिसमें जमात-ए-इस्लामी के ढाका दक्षिण सचिव शफीकुल इस्लाम मसूद भी शामिल थे। श्री अब्दुल्ला ने कहा, “हम तब तक सड़कों से नहीं उठेंगे, जब तक कि फासीवादी, नरसंहारकारी आवामी लीग को आतंकवादी संगठन घोषित नहीं कर दिया जाता, उसका पंजीकरण रद्द नहीं कर दिया जाता, पार्टी पर प्रतिबंध नहीं लगा दिया जाता और उनके मुकदमे के लिए एक स्पष्ट न्यायिक रोडमैप पेश नहीं किया जाता।” उधर, इस्लामी चरमपंथियों और राजनीतिक दलों की भारी मांगों के जवाब में अंतरिम सरकार ने घोषणा की कि वह आवामी लीग पर संभावित प्रतिबंध लगाने पर गंभीरता से विचार कर रही है।