प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को मुंबई में पहली बार वेव्स शिखर सम्मेलन (विश्व ऑडियो विजुअल और मनोरंजन शिखर सम्मेलन) का उद्घाटन किया। चार दिवसीय कार्यक्रम में मीडिया और मनोरंजन उद्योग के सभी लोग एक साथ आएंगे। इसका आयोजन बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स (बीकेसी) में किया जा रहा है। श्री मोदी ने महाराष्ट्र के लोगों को मराठी में राज्य दिवस की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने गुजरातियों को भी राज्य की भाषा में शुभकामनाएं दीं। इस मौके पर प्रधानमंत्री ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “करीब 100 से अधिक देशों के निवेशक और नीति निर्माता एक छत के नीचे एकत्र हुए हैं। आज वैश्विक प्रतिभा और वैश्विक पारिस्थितिकी तंत्र के बीज यहां रोपे जा रहे हैं। डब्ल्यूएवीइएस (वेव्स) एक ऐसी लहर है जो सांस्कृतिकता और वैश्विक संपर्क का पुल है।” प्रधानमंत्री ने कहा, “जबकि तकनीक का प्रभाव बढ़ रहा है, मानवीय संवेदनाओं को जागृत रखने के लिए विशेष प्रयास किए जाने की आवश्यकता है। रोबोट के विपरीत मनुष्य को अधिक संवेदनशील बनाने की आवश्यकता है। हजारों वर्षों से गीत, संगीत और नृत्य हमारी मदद करते रहे हैं और आने वाले समय में हमें उसी आधार पर जीना होगा।”
उन्होंने कहा कि देश वर्तमान में ‘नारंगी’ अर्थव्यवस्था के उदय का गवाह बन रहा है – रचनात्मकता द्वारा वस्तुओं और सेवाओं में जोड़े जाने वाले मूल्य पर ध्यान केंद्रित करना, अर्थात यह न केवल आय उत्पन्न करता है बल्कि विचारों, डिजाइनों और सांस्कृतिक अभिव्यक्तियों के आधार पर अमूर्त धन को भी बढ़ावा देता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि विषय-वस्तु, रचनात्मकता और संस्कृति महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे और इसके लिए सरकार द्वारा प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा, “इससे देश की जीडीपी में रचनात्मक अर्थव्यवस्था की हिस्सेदारी बढ़ाने में मदद मिलेगी। भारत अरबों कहानियों का देश है। हमारे सामने चुनौती इन कहानियों को आने वाली पीढ़ी के लिए दुनिया के सामने पेश करना है। इसमें वेव्स सम्मेलन महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।” उन्होंने बताया कि इससे देश के हर कोने से युवाओं को अवसर मिलेंगे।